Hindi shayri, Dard Bhare shayri, Romantic shayri, poem&shayri, shayri&poem, gajal, mahfil shayri, shero-shayri, dosti shayri, love shayri, bewafa shayri,
अगर तुम मिलने आ जाओ...
Get link
Facebook
X
Pinterest
Email
Other Apps
तमन्ना फ़िर मचल जाये.. अगर तुम मिलने आ जाओ..
यह मौसम ही बदल जाये.. अगर तुम मिलने आ जाओ..
मुझे गम है.. कि मैने ज़िन्दगी मे कुछ नहीं पाया..
यह गम दिल से निकल जाये.. अगर तुम मिलने आ जाओ
हमने सनम को दिल दिया नज़राना समझकर ज़ालिम ने उसे जलाया परवाना समझकर पहले तो मेरे सामने मुँह खोल के बैठे फिर कर लिया पर्दा मुझे बेगाना समझकर अफ़सोस न कर जानेजां इस दिल को तोड़ कर मैं खुद ही जा रहा हूँ तेरा शहर छोड़कर ख़त लिख रहा हूँ कसमें मोहब्बत को तोड़ कर कागज़ पे आंसुओं की जगह छोड़ छोड़ कर ये ख़त नहीं सदा ये दिल ये दर्द मंद है एक बेवफा का प्यार लिफ़ाफ़े में बंद है ये भी कोई सदा ये दिल ये दर्द मंद है एक प्यार है और वो भी लिफाफे में बंद है एक रोज़ यहीं आओगे वो दिन भी आएगा जा तो रहे हो हमसे हर वादे को तोड़ कर एक और शेर...शेर की नज़ाक़त देखिये लिखने जो बैठा रात तेरे नाम से ग़ज़ल अल्फ़ाज़ सामने थे खड़े थे हाथ जोड़ कर शादी की रश्म करके चला जाऊंगा परदेश कर दूंगा पेश अपना लहू ज़िस्म छोड़ कर////
*अपने माता पिता का सम्मान करने के 35 तरीके* 1. उनकी उपस्थिति में अपने फोन को दूर रखो. 2. वे क्या कह रहे हैं इस पर ध्यान दो. 3. उनकी राय स्वीकारें. 4. उनकी बातचीत में सम्मिलित हों. 5. उन्हें सम्मान के साथ देखें. 6. हमेशा उनकी प्रशंसा करें. 7. उनको अच्छा समाचार जरूर बताएँ. 8. उनके साथ बुरा समाचार साझा करने से बचें. 9. उनके दोस्तों और प्रियजनों से अच्छी तरह से बोलें. 10. उनके द्वारा किये गए अच्छे काम सदैव याद रखें. 11. वे यदि एक ही कहानी दोहरायें तो भी ऐसे सुनें जैसे पहली बार सुन रहे हो. 12. अतीत की दर्दनाक यादों को मत दोहरायें. 13. उनकी उपस्थिति में कानाफ़ूसी न करें. 14. उनके साथ तमीज़ से बैठें. 15. उनके विचारों को न तो घटिया बताये न ही उनकी आलोचना करें. 16. उनकी बात काटने से बचें. 17. उनकी उम्र का सम्मान करें. 18. उनके आसपास उनके पोते/पोतियों को अनुशासित करने अथवा मारने से बचें. 19. उनकी सलाह और निर्देश स्वीकारें. 20. उनका नेतृत्व स्वीकार करें. 21. उनके साथ ऊँची आवाज़ में बात न करें. 22. उनके आगे अथवा सामने से न चलें. 23. उनसे पहले खाने से बचें. 24. उन्हें घूरे...
कोई मशगूल अपने में कोई बेजार मिलता है बिना संघर्ष के किसको यहाँ अधिकार मिलता है शुरू हैं जंग जीवन में सभी की कोशिशें अपनी किसी को हार मिलती तो किसी को हार मिलता है कहीं बजती है शहनाई बगल में चीख मिलती है यहाँ अधिकार के बदले हमेशा भीख मिलती है हकीकत से उलट है जिन्दगी का फलसफा यारो ये जीवन पाठशाला है जहाँ नित सीख मिलती है गमों को बाँटने की कोशिशें कर, मातवर बन जा सुनेंगे बात सब तेरी अगर तू नामवर बन जा सभी एक साथ मिलके जी सके दुनिया तभी कायम नहीं मुमकिन हुआ ऐसा तो फिर से जानवर बन जा जो बांटे प्यार दुनिया में उसे ही प्यार मिलता है करे दूजे का जो आदर उसे सत्कार मिलता है जहाँ पत्थर बने भगवान का प्रतिमान पूजित है वहाँ पर ज्ञान से ज्यादा लगे अज्ञान पूजित है कहीं वाणी है गुरुओं की कहीं जीसस कहीं अल्ला मगर वह देश ही बढता जहाँ इन्सान पूजित है//
Comments
Post a Comment